डॉक्टरों को भगवान समजा जाता है और कोई भी बीमारी होती है तो सीधा डॉक्टर के पास जाते है. और उसका इलाज भी कराते है. लेकिन आपने कभी सुना है कि डॉक्टर ने किसी को मृत घोषित किया हो वह जिन्दा हो. हम यहां पर बात कर रहें है कराची की जहां के एक अस्पताल में मृत घोषित कर दी गई एक पचास वर्षीय महिला के शरीर को दफनाने से पहले नहलाते समय जीवित हो जाने की विचित्र घटना सामने आई है.
बता दें कि इस महिला को डाक्टरों ने मृत घोषित कर उसे मुर्दाघर भेज दिया. जिसके बाद दफनाते समय उस महिला के हाथ-पैर हिलने लगे. खबरों के मुताबिक पता चला कि रशीदा बीबी को कराची के अब्बासी शहीद अस्पताल में भर्ती कराया गया था. जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया. उसके बाद उसे मृत्यु प्रमाण पत्र भी जारी कर दिया गया था.
इसी के साथ खबर में यह भी कहा गया है कि जब बुधवार को महिला को दफनाने से पहले नहलाया जाने लगा तब वह हैरान कर देने वाले रूप में जीवित हो उठी. रशीदा की बहू शबाना ने कहा कि उनके शरीर को मुर्दाघर भेज दिया गया था. हम लोग जब उनके शरीर को दफनाने से पहले नहलाने लगे तब वहां मौजूद एक महिला ने गौर किया कि उनके हाथ पांव हिल रहें है.
यह भी पढ़ें : अमेरिका के उपराष्ट्रपति का दावा, ” अपने जवानों को एक्शन ना लेने के लिए कह रहा है ईरान”
जिसके बाद हमने तुरंत ही उनकी नब्ज देखी, तो उनकी सांस चल रही थी. फिलहाल महिला का अब उसी अस्पताल में उपचार चल रहा है. जहां पर महिला का एक बार मृत घोषित कर दिया गया था. ऐसे में सवाल यह है कि क्या सच में ऐसा भी होता है या फिर यह सब डॉक्टरों की लापरहवाही के कारण होता है.