नई दिल्ली: कल से किसान केंद्र सरकार की नीतियों के विरुद्ध दस दिन के राष्ट्रव्यापी हड़ताल शुरू कर चुके है. आज देशभर में आंदोलन कर रहें किसानों का विरोध प्रदर्शन का दूसरा दिन है. बता दें इस हड़ताल के वजह से देशभर में सब्जियों, दूध और अनाज जैसे कृषि उत्पादों की आपूर्ति बंद की गई है. देश के कई राज्य में जारी इस हड़ताल में करीब 130 किसान संगठन शामिल है.
हड़ताल के पहले चरण में किसान का आक्रोश काफी देखने को मिला था. जिसके कारण आज भी इसका असर देश के कई हिस्सों में प्रदर्शन के रूप में साफ देखने को मिल रहा है. जिसके तहत मंडियों में सप्लाई ठप होने से सब्जियों के दाम में कही इजाफा हुआ है. जिसका खामियाजा देश की जनता को उठाना पड़ रहा है.
पहले दिन कृषि उत्पादों को किया बर्बाद
किसान संगठन ने उग्र प्रदर्शन दिखते हुए राज्य के कई हिस्सों में केंद्र सरकार के खिलाफ नारेबाजी की थी. कुछ किसानों ने तो आक्रोश में आकर सब्जियों को सड़क पर फेंका, वहीं दूध को पानी की तरफ बहाया है. उन्होंने हड़ताल से पहले ही कहा दिया था कि दूध, सब्जियों और फलों की सप्लाई शहर में होने नहीं देंगे.
सब्जियों के दाम में हुई बढ़ोतरी
दूसरा दिन में हड़ताल के वजह से सब्जियों के दाम आसमान छूने लगे है. दिल्ली के गाजीपुर और ओखला मंडी में सब्जियों की सप्लाई कम होने के वजह से बाजारों में सब्जियों के दाम में बढ़ोतरी मिली है. मुंबई में टमाटर के दाम दोगुन हो गए है. मुंबई में टमाटर की कीमत 80 रुपए होगी है. वहीं पंजाब के भटिंडा में सब्जियों के मंडी तक ना पहुँचने से 20 से 30 फीसदी तक का इजाफा हुआ है.
किसान की मांग
आपको बता दें कि किसान यूनियन ने केंद्र सरकार से मांग की है कि देश के किसान का कर्ज माफ किया जाए. फसल उत्पादन को बढ़ाया जाए. छोटे किसान या फिर किसी अन्य की भूमि पर खेती करने वाले किसानों की आय मासिक तौर पर निर्धारित होनी चाहिए.