Kahani Uttar Pradesh ki: पिता मुलायम सिंह यादव राजी नहीं थे अखिलेश और डिंपल की शादी के लिए, जानिए फिर कैसे बनी बात

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Kahani Uttar Pradesh ki: पिता मुलायम सिंह यादव राजी नहीं थे अखिलेश और डिंपल की शादी के लिए, जानिए फिर कैसे बनी बात

Kahani Uttar Pradesh ki: पिता मुलायम सिंह यादव राजी नहीं थे अखिलेश और डिंपल की शादी के लिए, जानिए फिर कैसे बनी बात

पूर्व में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे अखिलेश यादव को कौन नहीं जानता। 48 वर्षीय अखिलेश यादव समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और सपा संरक्षक मुलायम सिंह के बेटे हैं। जानकार कहते हैं कि राजनीति में आने के बाद अखिलेश यादव में काफी बदलाव आया है इससे पहले अखिलेश काफी अलग थे। अखिलेश को पहले से जानने वालों की मानें तो अखिलेश भले ही राजनीतिक परिवार के जरूर थे लेकिन राजनीति से वे बहुत दूर थे।

उन्होंने राजस्थान मिलिट्री स्कूल धौलपुर से प्राथमिक शिक्षा प्राप्त की है, जबकि मैसूर के एस. जे. कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग से स्नातक किया है और उसके बाद वो आगे की पढ़ाई के लिए ऑस्ट्रेलिया चले गए, जहां उन्होंने सिडनी विश्वविद्यालय से स्नातकोत्तर की डिग्री हासिल की।

लेकिन दोस्तों आज हम आपको अखिलेश यादव के जीवन की किसी सियासी, राजनीतिक महत्वाकांक्षा या उनकी हार और जीत के किसी किस्से पर बात नहीं करेंगे। दरअसल आज तो हम उन अखिलेश यादव की बात कर रहे हैं जो कभी एक लड़की को अपना दिल दे बैठे थे। तो आइए सिलसिलेवार तरीके से जानते हैं कि सूबे के इतने बड़े नेता के बेटे होने के बाद भी अखिलेश की मुहब्बत की राह में क्या- क्या कठनाईंयां आईं…

कॉमन फ्रेंड के घर हुई थी दोनों की पहली मुलाकात
सुनीता एरन ने अखिलेश यादव की जिंदगी पर एक किताब भी लिखी है, जिसका नाम ‘अखिलेश यादव – बदलाव की लहर’ है। इस किताब में उन्होंने अखिलेश की निजी जिंदगी से जुड़ी कई अहम बातें भी बताई हैं। किताब के मुताबिक, अखिलेश यादव और उनकी पत्नी डिंपल यादव की लव स्टोरी किसी फिल्मी प्रेम कहानी से कम नहीं है। पहली बार उनकी मुलाकात तब हुई थी, जब अखिलेश 21 साल के थे जबकि डिंपल महज 17 साल की थीं। एक इंटरव्यू में डिंपल ने ये खुलासा किया था कि जब उनकी मुलाकात अखिलेश से हुई थी तब उन्हें नहीं पता था कि वो इतने बड़े पॉलिटिशियन मुलायम सिंह यादव के बेटे हैं। दोनों की मुलाकात एक कॉमन फ्रेंड के घर पर हुई थी और फिर बाद में दोनों एक अच्छे दोस्त बन गए और बाद में ये दोस्ती प्यार में बदल गई।

छुप-छुपकर मिलते थे दोनों

किताब के मुताबिक, अखिलेश और डिंपल दोस्त से मिलने का बहाना बनाकर एक-दूसरे से छुप-छुपकर मिलते थे। किताब के मुताबिक, सिडनी जाने के बाद भी अखिलेश और डिंपल लगातार संपर्क में रहे। अखिलेश डिंपल को लव लेटर्स भी लिखते थे और ग्रीटिंग कार्ड्स भी भेजते थे। यह सिलसिला करीब चार सालों तक चला। जब अखिलेश अपनी पढ़ाई पूरी कर वापस उत्तर प्रदेश लौटे तो उन्होंने डिंपल से शादी करने का मन बना लिया था।

पिता मुलायम नहीं थे इस रिश्ते के लिए तैयार

कहते हैं कि मुलायम सिंह यादव अखिलेश और डिंपल की शादी के लिए बिलकुल तैयार नहीं थे, वहीं उन्हें डर था कि विरोधी कहीं इसे मुद्दा न बना लें। लेकिन अखिलेश भी कहां हार मानने वालों में से थे। कहते हैं पिता मुलायम सिंह से न सुनने के बाद अखिलेश ने एक प्लान बनाया और डिंपल से अपनी शादी के लिए अपनी दादी को मनाया। कहते हैं कुछ दिनों बाद आखिरकार उन्हें दादी से स्वीकृति मिल ही गई। इसके बाद उन्होंने पिता मुलायम सिंह को भी इस रिश्ते के लिए मना लिया। जिसके बाद 24 नवंबर 1999 को दोनों शादी के बंधन में बंध गए। अखिलेश डिंपल की शादी में शामिल होने के लिए दिवंगत अभिनेता दिलीप कुमार भी लखनऊ पहुंचे थे। इसके अलावा बीजेपी नेता और पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी भी अखिलेश और डिंपल को आशीर्वाद देने लखनऊ पहुंचे थे। डिंपल उत्तराखंड के निवासी रहे लेफ्टिनेंट कर्नल एससी रावत की बेटी हैं।

तीन बच्चों के पिता हैं अखिलेश
अखिलेश यादव और डिंपल के तीन बच्चे हैं, जिनके नाम अदिति, टीना और अर्जुन हैं। इसमें टीना और अर्जुन जुड़वा हैं। शादी के बाद डिंपल ने भी राजनीति में किस्मत आजमाई, जहां उन्हें जीत भी मिली और हार भी। वह कन्नौज से लगातार दो बार सांसद रह चुकी हैं। उन्हें पेंटिंग के साथ ही घुड़सवारी का भी शौक है।

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