एयर लाइन्स लायी है कुछ अनूठे नए नियम ।

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New Rules of AirLines
एयर लाइन्स लायी है कुछ अनूठे नए नियम ।

सिविल एविएशन मिनिस्ट्री ने शुक्रवार को नो फ्लाई लिस्ट से जुड़े रूल्स बताए। सिविल एविएशन सेक्रेटरी आर एन चौबे ने बताया कि नो फ्लाई लिस्ट को तीन कैटेगरी में बांटा गया है। तीसरी कैटेगरी में बुरा व्यवहार करने वाले पैसेंजर को 2 साल या इससे अधिक वक्त तक बैन किया जा सकता है। माना जा रहा है कि शिवसेना सांसद रवींद्र गायकवाड़ की एअर इंडिया के मैनेजर से मारपीट का मामला ही इन नियमों को लागू करने के पीछे बड़ी वजह है।

 

बर्ताव को बाटा तीन भागो में

सिविल एविएशन सेक्रेटरी ने बताया कि नो फ्लाई लिस्ट में बुरे बर्ताव को 3 कैटेगरी में बांटा गया है। हर कैटेगरी के हिसाब से बैन की मियाद अलग-अलग है।

-पहली कैटेगरी में अशांत व्यवहार जैसे धमकी भरे इशारे और हाव-भाव को रखा गया है। इस कैटेगरी में पैसेंजर पर 3 महीने तक बैन लगाया जाएगा।

-दूसरी कैटेगरी में फिजिकल एब्यूज को रखा गया है। इसमें धक्का देना, लात मारना, सैक्सुअल हैरेसमेंट शामिल हैं। इस कैटेगरी के तहत पैसेंजर पर 6 महीने तक बैन लगाया जा सकता है।

-तीसरी कैटेगरी में ऐसे व्यवहार को रखा गया है, जिसमें पैसेंजर के बर्ताव से स्टाफ को जान का खतरा पैदा होता हो। इस कैटेगरी में 2 साल या इससे ज्यादा वक्त तक बैन लगाया जा सकता है।

नो फ्लाई लिस्ट से जुड़े अहम सवाल

 

क्या है मामला-

रवींद्र गायकवाड़ पर 23 मार्च को एअर इंडिया के स्टाफर को 25 बार सैंडल से मारने का आरोप है। गायकवाड़ ने खुद मीडिया के सामने इसे कबूल भी किया था। उन्होंने माफी मांगने से इनकार कर दिया था। जिसके बाद गायकवाड़ को एअर इंडिया समेत 7 एयरलाइन्स ने नो-फ्लाई लिस्ट में डाल दिया था। इस मामले में संसद में भी हंगामा हुआ था। इसके बाद गायकवाड़ ने एविएशन मिनिस्टर अशोक गजपति राजू से लिखित में माफी मांगी थी।

क्या है नियम-

एयर एक्ट 1972 के चैप्टर-4 के तहत एयरलाइन्स किसी को भी टिकट देने से मना कर सकती है। एयरक्राफ्ट रूल्स 1937 का 22 और 23 नियम इस रोक को सही ठहराता है।

नो फ्लाई लिस्ट में क्या होगा-

दुनिया के कई देशों में यह सिस्टम है, जिसमें बदसलूकी या हिंसा करने वाले एयर पैसेंजर्स को इस लिस्ट में डाल दिया जाता है। इस लिस्ट में आने के ये मायने हैं कि आप दोबारा उस एयरलाइन से ट्रैवल नहीं कर सकते। यह बैन आप पर हमेशा के लिए या कुछ साल या महीनों के लिए हो सकता है। यूएस में अगर कोई नो-फ्लाई लिस्ट में है तो उसके बारे में एयरलाइन्स को अपने आप अलर्ट कर दिया जाता है।

अगर किसी पैसेंजर का नाम नो फ्लाई लिस्ट में होता है तो वह प्लेन की टिकट बुक नहीं करा सकेगा । ये डायरेक्टर जनरल ऑफ सिविल एविएशन पर डिपेंड करता है कि वो किसे नो फ्लाई लिस्ट में डाला जाना चाहिए।